प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ का असर अब भी वाराणसी में देखने को मिल रहा है। श्रद्धालुओं की भारी भीड़ और यातायात दबाव को देखते हुए प्रशासन ने शहरी क्षेत्र के आठवीं कक्षा तक के सभी स्कूलों को 8 फरवरी तक बंद करने का निर्णय लिया है। इस दौरान कक्षाएं ऑनलाइन मोड में संचालित की जाएंगी ताकि छात्रों की पढ़ाई प्रभावित न हो।
यह भी देखें: सरकार दे रही ₹2.5 लाख की मदद! जानें कौन से परिवार होंगे लाभार्थी और कैसे मिलेगा फायदा – जल्दी करें आवेदन!
केवल शहरी क्षेत्र के लिए लागू आदेश
यह आदेश केवल वाराणसी के शहरी इलाकों के लिए लागू किया गया है। ग्रामीण क्षेत्र के स्कूलों को इस आदेश से बाहर रखा गया है और वे निर्धारित समयानुसार खुले रहेंगे। प्रशासन ने भीड़भाड़ को नियंत्रित करने और स्कूल जाने वाले बच्चों की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हुए यह कदम उठाया है।
महाकुंभ का वाराणसी पर प्रभाव
प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ 2025 के कारण आसपास के क्षेत्रों में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ रही है। वाराणसी, जो धार्मिक और सांस्कृतिक केंद्र है, वहां भी यातायात दबाव और भीड़ का असर साफ नजर आ रहा है। ऐसे में प्रशासन ने पहले से सतर्कता बरतते हुए यह निर्णय लिया है कि छोटे बच्चों को स्कूल जाने से फिलहाल रोका जाए और उनकी पढ़ाई ऑनलाइन जारी रखी जाए।
यह भी देखें: PM Sury Ghar Yojana में कम से कम कितने किलोवाट का सोलर पैनल लगा सकते हैं? जानें
वाराणसी प्रशासन की अपील
वाराणसी जिला प्रशासन ने अभिभावकों, शिक्षकों और स्कूल प्रबंधन से सहयोग की अपील की है। स्कूलों को यह सुनिश्चित करने को कहा गया है कि ऑनलाइन कक्षाएं नियमित रूप से संचालित हों और छात्र-छात्राओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो। इसके अलावा, आम नागरिकों से भी अपील की गई है कि वे अनावश्यक यात्रा से बचें और भीड़भाड़ वाले इलाकों में जाने से परहेज करें।
सुरक्षा और यातायात नियंत्रण के प्रयास
महाकुंभ की भीड़ को देखते हुए यातायात पुलिस ने कई मार्गों पर विशेष व्यवस्था लागू की है। वाराणसी में प्रवेश करने वाले वाहनों की संख्या को नियंत्रित करने के लिए वन-वे ट्रैफिक सिस्टम लागू किया गया है। साथ ही, महत्वपूर्ण तीर्थ स्थलों और रेलवे स्टेशनों पर भीड़ को नियंत्रित करने के लिए अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है।
यह भी देखें: सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला! दूसरी शादी में तलाक के बाद भी देना होगा भरण-पोषण खर्च – जानिए पूरा मामला
ऑनलाइन मोड में पढ़ाई को बढ़ावा
ऑनलाइन कक्षाओं को सुचारू रूप से चलाने के लिए स्कूलों को विशेष दिशानिर्देश दिए गए हैं। शिक्षकों को वर्चुअल माध्यम से छात्रों को पढ़ाने की सलाह दी गई है, ताकि वे घर से ही अपनी पढ़ाई जारी रख सकें। अभिभावकों को भी सलाह दी गई है कि वे बच्चों को मोबाइल या लैपटॉप के माध्यम से कक्षाओं में शामिल होने में मदद करें।
यह भी देखें: Shab-e-Barat 2025: कब है इबादत, रहमत और मगफिरत की रात और कैसे करें खास इबादत?
अगले आदेश तक सतर्कता बरतने के निर्देश
प्रशासन ने कहा है कि 8 फरवरी के बाद स्थिति की समीक्षा की जाएगी, जिसके बाद आगे के फैसले लिए जाएंगे। यदि भीड़ का दबाव अधिक बना रहता है तो यह आदेश बढ़ाया भी जा सकता है। फिलहाल, प्रशासन ने सभी नागरिकों से संयम बनाए रखने और सरकारी दिशानिर्देशों का पालन करने का अनुरोध किया है।